September 8, 2024

कांग्रेस के बागी विधायकों पर एक्शन ने बदला हिमाचल का नंबर गेम, क्या सुक्खू बने रहेंगे सीएम

बीरेंद्र कुमार झा

हिमाचल की पहाड़ी पर ठंड के बीच सियासी पारा चढ़ा हुआ है। इस बीच विधानसभा स्पीकर कुलदीप सिंह पठानिया ने कांग्रेस के छह बागी विधायकों को अयोग्य करार दिया है यानि इनकी सदस्यता रद्द कर दी गई है। ऐसे में साफ है कि फिलहाल सुखविंदर सिंह सुक्खू मुख्यमंत्री की कुर्सी पर बने रहेंगे। विधानसभा में शेष बचे विधायकों के नंबर भी इसी की तरफ इशारा कर रहे हैं।

स्पीकर कुलदीप सिंह पठानिया ने कांग्रेस विधायकों को ठहराया अयोग्य

विधान सभा अध्यक्ष कुलदीप सिंह पठानिया ने कांग्रेस के 6 विधायकों को आज अयोग्य ठहरा दिया।विधान सभा अध्यक्ष ने कांग्रेस के जिन विधायकों को अयोग्य ठहराया है,उसमे धर्मशाला के विधायक सुधीर शर्मा, सुजानपुर के विधायक राजेंद्र राणा, कुटलैहड़ के विधायक देवेंद्र भुट्टो, गगरेट के विधायक चैतन्य शर्मा, लाहौल स्पीति के विधायक रवि ठाकुर और बड़सर के विधायक इंद्रदत्त लखनपाल शामिल है।

स्पीकर कुलदीप सिंह पठानिया ने व्हिप के उल्लंघन के आरोप में रद्द की विधायकी

स्पीकर कुलदीप सिंह पठानिया के न्यायालय में कांग्रेस के 6 विधायकों द्वारा पार्टी के व्हिप के उल्लंघन के आरोप से संबंधित एक मामला 28 फरवरी को दर्ज कराया गया था।इसपर सुनवाई करते हुए स्पीकर कुलदीप सिंह पठानिया ने 29 फरवरी को कांग्रेस के व्हिप के उल्लंघन के सभी 6 आरोपी को विधान सभा की सदस्यता के अयोग्य ठहरा दिया। इस मामले में अपना फैसला सुनाते हुए स्पीकर कुलदीप सिंह पठानिया ने कहा कि कांग्रेस के इन 6 विधायकों ने कांग्रेस के व्हिप का उल्लंघन करते हुए सबसे पहले तो राज्यसभा के चुनाव में अपने पार्टी के प्रत्याशी के पक्ष में मतदान न कर बीजेपी के प्रत्याशी के पक्ष में मतदान किया। इसके अलावा कांग्रेस की ये 6 विधायक बजट सत्र के दौरान भी व्हिप जारी करने के बावजूद सदन में नहीं पहुंचे। विधानसभा अध्यक्ष ने विधायकों के इस आचरण को 10वीं अनुसूची के विपरीत पाने को आधार बनाते हुए कांग्रेस के 6 विधायकों के विधान सभा की सदस्यता को आरोग्य ठहरा दिया।

स्पीकर कुलदीप सिंह पठानिया के निर्णय से आहत अयोग्य ठहराए गए विधायक करेंगे हाई कोर्ट का रुख

स्पीकर कुलदीप सिंह पठानिया द्वारा विधान सभा की सदस्यता से अयोग्य ठहराए जाने के बाद तत्काल प्रभाव से कांग्रेस के ये सभी 6 विधायक विधान सभा के सदस्य नहीं रहेंगे, लेकिन उनके पास विधानसभा अध्यक्ष की फैसले को हाई कोर्ट और सुप्रीम कोर्ट में चुनौती देने का विकल्प मौजूद है। स्पीकर के फैसले पर नाराजगी जताते हुए सुधीर शर्मा ने कहा कि हम इस फैसले को कोर्ट में चुनौती देंगे। सुधीर शर्मा ने कहा कि विधानसभा अध्यक्ष कुलदीप सिंह पठानिया खुद डेढ़ घंटे तक विधानसभा में नहीं आए थे। अटेंडेंस रजिस्टर में हमारी हाजिरी लगी है। साथ ही उन्होंने कहा कि इस सरकार का जाना तय है।वहीं राजेंद्र राणा ने कहा कि हमें गलत तरीके से अयोग्य ठहराया गया है।

कांग्रेस के विधायकों को अयोग्य थराए जाने के बाद सदन में विधायकों की स्थिति

हिमाचल प्रदेश विधान सभा में राज्य विधानसभा में 68 सीटें हैं। कार्रवाई से पहले तक कांग्रेस के 40 विधायक थे।कांग्रेस के 6 विधायकों पर विधानसभा अध्यक्ष कुलदीप सिंह पठानिया के द्वारा एक्शन लेकर उन्हें अयोग्य ठहरा दिया जाने के साथ ही विधानसभा में अब 62 विधायक ही शेष बचे हैं।इनमें कांग्रेस के 34 विधायक हैं,जबकि बीजेपी के 25 विधायक हैं।विधान सभा में तीन निर्दलीय विधायक भी हैं, जो बीजेपी के साथ हैं।

कांग्रेस के 6 विधायकों के अयोग्य ठहराए जाने के बाद सुक्खू सरकार की स्थिति

विधान सभा अध्यक्ष द्वारा 6 कांग्रेस विधायकों पर अयोग्य ठहराए जाने के एक्शन के बाद अब सरकार में बने रहने के लिए 32 विधायकों की जरूरत होगी। 32 विधायक आज मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू के ब्रेकफास्ट में भी पहुंचे। विक्रमादित्य सिंह ने सुक्खू के ब्रेकफास्ट में भाग नहीं लिया। इसके बाद भी 32 विधायकों के पहुंचने के बाद माना जा रहा है कि विक्रमादित्य सिंह के खेमे में कम विधायक हैं और हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री सुखविंदर सुक्खू की कुर्सी फिलहाल तबतक सुरक्षित है,जबतक की हाई कोर्ट या सुप्रीम कोर्ट स्पीकर के फैसले को अमान्य न करार दे।

मैं नाश्ता कम करता हूं

विक्रमादित्य सिंह ने मुख्यमंत्री सुखविंदर सुक्खू द्वारा नाश्ता पर पार्टी विधायकों को जुटाकर शक्ति परीक्षण करने के मुद्दे पर तंज कसते हुए कहा कि मैं नाश्ता कम करता हूं।साथ ही उन्होंने कहा कि मैं आज पर्यवेक्षक से मुलाकात करूंगा। उन्होंने विधायकों पर स्पीकर के एक्शन को लेकर कहा कि स्पीकर ने सोच समझकर ही फैसला लिया होगा गौरतलब है कि विक्रमादित्य सिंह सुक्खू के नाश्ता में सम्मिलित नहीं हुए थे।